7th Pay Commission: दिल्ली नगर निगम (MCD) के स्कूलों में काम करने वाले अनुबंध शिक्षकों के लिए 7वें वेतन आयोग का लाभ अब एक वास्तविकता बन गया है। एक ऐतिहासिक फैसले में, केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (कैट) ने एमसीडी को सातवें वेतन आयोग के अनुसार अपने सभी अनुबंध प्राथमिक विद्यालय के शिक्षकों को वेतन देने का निर्देश दिया है। यह निर्णय उन शिक्षकों के लिए एक बड़ी राहत है जो लंबे समय से समान काम के लिए समान वेतन की मांग कर रहे थे। अब यह आदेश उन सभी शिक्षकों के लिए फायदेमंद साबित होगा जो अनुबंध पर काम कर रहे हैं और लंबे समय से कम वेतन पर काम कर रहे थे।
कैट का निर्णय और इसके कारण
7th Pay Commission : कैट के न्यायिक सदस्य मनीष गर्ग और प्रशासनिक सदस्य राजेंद्र कश्यप की पीठ ने इस फैसले में स्पष्ट रूप से कहा कि समान काम के लिए समान वेतन का सिद्धांत सभी पर लागू होता है। अदालत ने कहा कि जब सभी शिक्षक समान कर्तव्यों का पालन कर रहे हैं, तो उनके वेतन में भेदभाव क्यों किया गया। पीठ ने यह भी कहा कि यह असमानता किसी भी तरह से उचित नहीं है। साथ ही इस बात पर भी सहमति बनी कि कर्मचारियों को उचित और समान वेतन मिलना चाहिए।
7वें वेतन आयोग का एमसीडी के अनुबंधित शिक्षकों पर क्या असर पड़ेगा?
यह आदेश शहनाज परवीन और तहमीना रियाज द्वारा दायर एक याचिका पर आया है, लेकिन यह निगम में काम करने वाले सभी अनुबंधित शिक्षकों को प्रभावित करेगा। वर्तमान में दिल्ली नगर निगम में 1200 से अधिक अनुबंध शिक्षक काम कर रहे हैं, जिन्हें अब 7वें वेतन आयोग के तहत वेतन मिलेगा। याचिकाकर्ताओं ने दावा किया था कि वे नियमित शिक्षकों के समान कर्तव्यों का पालन कर रहे थे, लेकिन उन्हें बहुत कम भुगतान किया जा रहा था। इस निर्णय से उनकी शिकायतों का समाधान होगा और उन्हें उचित वेतन मिलेगा। 7th Pay Commission
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7th Pay Commission : कैट आदेश और सटीक वेतन भुगतान
7th Pay Commission : कैट ने यह भी निर्देश दिया कि एमसीडी को सातवें वेतन आयोग के अनुसार अपने अनुबंधित शिक्षकों को न्यूनतम वेतनमान, महंगाई भत्ता (डीए) और अन्य भत्ते प्रदान करने चाहिए। यह आदेश पूरे निगम के शिक्षकों पर लागू होगा, विशेष रूप से उन शिक्षकों पर जिनके वेतन को दक्षिण दिल्ली नगर निगम (एसडीएमसी) द्वारा 2017 में संशोधित किया गया था। अब जब दिल्ली नगर निगम का विलय कर दिया गया है, तो यह संशोधित वेतन निगम के सभी शिक्षकों के लिए लागू होगा। 7th Pay Commission
दक्षिणी नगर निगम ने पहले ही संशोधन कर दिया था
कैट ने यह भी नोट किया कि दक्षिण दिल्ली नगर निगम ने 2017 में अपने अनुबंधित शिक्षकों के वेतन को पहले ही संशोधित कर दिया था। लेकिन अन्य निगमों के अनुबंध शिक्षकों को यह लाभ नहीं मिला। अब, दिल्ली के तीनों निगमों को एकीकृत कर दिया गया है, और इस निर्णय के बाद, यह आदेश पूरे निगम के शिक्षकों पर लागू होगा। साथ ही, आदेश के अनुसार तीन महीने के भीतर वेतन का भुगतान सुनिश्चित करना होगा। यदि भुगतान नहीं किया जाता है, तो उस पर जीपीएफ (सामान्य भविष्य निधि) दर पर ब्याज लिया जाएगा। 7th Pay Commission
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इस निर्णय का शिक्षकों पर क्या प्रभाव पड़ेगा?
इस निर्णय से न केवल 7वें वेतन आयोग के तहत वेतन में वृद्धि होगी, बल्कि शिक्षकों को बकाया राशि भी दी जाएगी। इसके अलावा अन्य भत्ते जैसे महंगाई भत्ता और अन्य लाभ भी उन्हें उपलब्ध होंगे। इस निर्णय का शिक्षकों पर बहुत सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा क्योंकि यह उन्हें उचित वेतन देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इससे न केवल उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार होगा, बल्कि उनके काम में उत्साह और प्रेरणा भी बढ़ेगी। 7th Pay Commission
समान वेतन, समान काम
7वें वेतन आयोग का यह निर्णय सिर्फ वेतन वृद्धि का मामला नहीं है, बल्कि यह समानता और न्याय का भी प्रतीक है। जब समान कार्य करने वाले कर्मचारियों को समान वेतन नहीं मिलता है, तो यह एक तरह का अन्याय है। इस फैसले के माध्यम से 7वें वेतन आयोग ने यह संदेश दिया है कि सभी कर्मचारियों को उनके काम के अनुसार उचित वेतन मिलना चाहिए। यह कदम समाज में समानता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा।
निष्कर्ष
7th Pay Commission : 7वें वेतन आयोग का यह निर्णय दिल्ली के एमसीडी स्कूलों में काम करने वाले सभी अनुबंध शिक्षकों के लिए एक बड़ी राहत है। इस निर्णय से न केवल इन शिक्षकों को उनका हक मिलेगा, बल्कि यह उनके कामकाज में सुधार लाने और मनोबल बढ़ाने में भी मदद करेगा। उम्मीद की जा रही है कि इस निर्णय के साथ अन्य राज्यों और निगमों में भी इसी तरह के कदम उठाए जाएंगे ताकि सभी संविदात्मक कर्मचारियों को समान काम के लिए समान वेतन मिल सके। इस निर्णय से शिक्षा क्षेत्र में काम करने वाले सभी शिक्षकों को उनका उचित अधिकार मिलेगा और उनके काम की सराहना होगी।